With the onset of monsoon, foreign guests arrived in Korba from Siberia, the villagers consider them angels…

Last Updated:

Korba News: कोरबा में खूबसूरत सफेद पक्षियों का जमावड़ा शुरु हो गया है. एक दशक पहले शुरू हुआ यह सिलसिला अब हर साल मानसून के साथ दोहराया जाता है. हजारों किलोमीटर दूर साइबेरिया से ये प्रवासी पक्षी छत्तीसगढ़ के इस …और पढ़ें

X

Image 

Image 

हाइलाइट्स

  • कोरबा में साइबेरियन पक्षियों का जमावड़ा शुरू हुआ.
  • हर साल मानसून में साइबेरिया से आते हैं पक्षी.
  • गांव वालों ने पक्षियों को समृद्धि का संकेत माना.

कोरबा: प्रकृति की बनाई सीमाएं परिंदों के पंखों को नहीं बांध सकतीं.वे बेरोकटोक जल, थल और आकाश में अपनी मर्जी से उड़ान भरते हैं.इन खूबसूरत पक्षियों का कलरव, मोहक पंख और अद्भुत बनावट हर किसी को मंत्रमुग्ध कर देती है. यही कारण है कि कोरबा जिले से करीब 20 किलोमीटर दूर करतला विकासखंड के गांव कनकी में इन दिनों सफेद रंग के खूबसूरत पक्षियों का डेरा लगा हुआ है, जो लोगों के लिए सुखद अनुभव लेकर आया है.

हर साल आते हैं पक्षी

एक दशक पहले शुरू हुआ यह सिलसिला अब हर साल मानसून के साथ दोहराया जाता है. हजारों किलोमीटर दूर साइबेरिया से ये प्रवासी पक्षी छत्तीसगढ़ के इस शांत कोने में आते हैं. बीते कुछ सालों से इस जगह ने उन्हें इतना भा गया है कि यहां उनकी उपस्थिति लगातार बढ़ती जा रही है.अभी इनका आना शुरू हुआ है अब तक गांव में 200 से अधिक पक्षियों का झुंड देखा जा रहा है.

कनकेश्वर मंदिर के बाहरी प्रांगण में लगे पीपल के पेड़ पर इन प्रवासी पक्षियों ने अपना ठिकाना बनाया है. गांव वालों का मानना है कि इन पक्षियों का आना समृद्धि का संकेत है. उन्होंने इसे महसूस किया है और इसलिए वे इन मेहमानों को अपना दोस्त मानते हैं और हर तरह से उनकी रक्षा करते हैं.

प्रजनन के लिए हैं पहुंचते 

वन विभाग भी प्रवासी पक्षियों के संरक्षण के लिए सक्रिय है. इस क्षेत्र में विशेष ध्यान दिया जा रहा है, ताकि किसी भी तरह से इन पक्षियों को कोई नुकसान न पहुंचे.वन विभाग के अधिकारियों का कहना है कि ये प्रवासी पक्षी मुख्य रूप से प्रजनन के लिए यहां आते हैं और कुछ समय बाद अपने मूल देश लौट जाते हैं.

छत्तीसगढ़ में कई सुंदर जगहें हैं, लेकिन इन प्रवासी पक्षियों का कोरबा के इस गांव को चुनना दर्शाता है कि यहां कुछ तो खास है.शायद यह गांव की शांति, हरियाली और ग्रामीणों का प्यार ही है, जो इन पक्षियों को बार-बार यहां खींच लाता है. इन पक्षियों के आने से कनकी गांव न केवल खूबसूरत दिखता है, बल्कि यह पर्यावरण संरक्षण का एक महत्वपूर्ण संदेश भी देता है.

भारत पाकिस्तान की ताज़ा खबरें News18 India पर देखें
homechhattisgarh

कोरबा में मानसून संग पहुंचे साइबेरियन मेहमान, ग्रामीणों ने कहा हमारे देवदूत..

Source link

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *